
राजस्व रैंकिंग" में जिले की रैंकिंग में अप्रत्याशित वृद्धि।
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राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग द्वारा प्रत्येक माह राजस्व संबंधी कार्यों का मूल्यांकन किया जाता है तथा जिलावार रैंकिंग दी जाती है। रैंकिंग में दाखिल खारिज, परिमार्जन प्लस, अभियान बसेरा-2, आधार सीडिंग, e-mapi तथा DCLR,ADM एवं DM कोर्ट के प्रगति का मूल्यांकन किया जाता है। माह सितंबर 2024 के प्रकाशित रैंकिंग में जमुई जिला का स्थान 34वां था। जिला पदाधिकारी द्वारा राजस्व संबंधी कार्यों की निरंतर समीक्षा की जाती रही एवं कार्यों में शिथिलता बरतने वाले पदाधिकारीयों पर स्पष्टीकरण एवं समय-समय पर उनका वेतन भी रोका गया। फलतः जनवरी 2025 के रैंकिंग में अप्रत्याशित सुधार हुआ है एवं जिले की रैंकिंग 10वां हो गयी है।
राज्य स्तर पर जमुई जिला द्वारा ही तीव्रतम गति से रैंकिंग में सुधार किया गया अपर समाहर्ता जमुई ने बताया गया कि वर्तमान जिलाधिकारी के पदस्थापन के समय जमुई जिले का आधार सिडिंग का प्रतिशत 44% था, जिसमें कुल 51% की बढ़ोतरी होकर 95% हुआ है, जोकि सूबे में तृतीय स्थान पर पहुंच गया है l माह सितंबर 2024 में पर्चा वितरण 18 प्रतिशत था, इसमें 77% की बढ़ोतरी होकर आज 95% हो गया है l जो की सूबे में चतुर्थ स्थान पर पहुंच गया है l वही माह सितंबर 2024 में दाखिल खारिज का निष्पादन 62% था, जिसमें 25% की बढ़ोतरी होकर आज 87% हो गया है l माह सितंबर 2024 में परिमार्जन प्लस का मात्र 3% था, जिसमें 75% की अप्रत्याशित बढ़ोतरी हुई है जो होगा आज 78% हो गया है l जिला पदाधिकारी के कुशल नेतृत्व, मार्गदर्शन एवं सतत अनुश्रवण के कारण जिले की रैंकिंग में 24 स्थानों का उछाल आया है।इसमें राजस्व से संबंधित सभी अधीनस्थ पदाधिकारियों का महत्वपूर्ण योगदान रहा है एवं सभी बधाई के पात्र हैं। विदित हो की विधि–व्यवस्था के मामलों में "भूमि विवाद" मुख्य कारण रहा है।जिले में राजस्व संबंधी कार्यों के कार्य प्रणाली में सुदृढ़ीकरण से आम जनमानस प्रसन्न है।
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