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जमुई में छोटी-बड़ी 22 नदी होने के बावजूद भी अभी मौजूदा स्थिति में 22 नदियों में आज एक भी नदी उपयोग में नहीं है इसका कारण सरकार के द्वारा नदियों से उठाओ बालू के विरुद्ध एवं लगातार तय सीमा से अधिक खुदाई कर बालों को निकालने के विरुद्ध जमुई के समाजसेवी और विभिन्न पर्यावरण से लगाव रखने वाले युवाओं के द्वारा रविवार यानी 14 मई को युवाओं के द्वारा पद यात्रा रैली निकाला जा रहा है इसको लेकर जमुई जिले के विभिन्न गांव एवं बिहार के विभिन्न जगहों से लोगों का खूब सहयोग एवं प्यार इस कार्य के प्रति मिल रहा है वही लोगों ने बताया कि हमारे समय में स्विमिंग पूल नहीं हुआ करता था हम लोग नदी में तैरना जानते हैं , आज के बच्चों को अगर करने के लिए कहा जाए तो वह तैर नहीं सकता है जिस प्रकार पंछी विलुप्त होते जा रहा है और वह किताबों में दिख रहा है
उसी प्रकार आने वाले समय में नदी को भी किताब एवं कॉपी पर ही चित्र बनाकर देखा जाएगा,इसी बड़े मुद्दा को जमुई के युवाओं एवं समाजसेवी के द्वारा एक अभियान चलाते हुए नदी बचाओ अभियान को लेकर हर गांव हर कस्बे में जाकर लोगों से मुलाकात कर नदी के विशेषताओं को बताते हुए रविवार को पदयात्रा निकाला जा रहा है इसी संदर्भ में विवेक कुमार ने कहा जिस प्रकार नदी से पानी विलुप्त होते जा रहा है और बरसात के समय में पानी नहीं बरस पा रहा और खेत खाली रह जा रहा है आने वाले समय में कहीं भुखमरी का सामना ना करना पड़ जाए
वही शैलेश कुमार ने बताया कि नदी हमारे जीवन के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण है जिस प्रकार जमुई में छोटी-बड़ी 22 नदी होने के बावजूद भी आज उस जगहों पर भूख मरी का सामना करना पड़ रहा वहीं उन्होंने कहा कि किसानों के लिए नदी का पानी इतना लाभदायक होता था जो किसान खेतों में समर्या बोरिंग की जगह नदी से पानी खेत में डालना ज्यादा पसंद करते थे जिससे उनका खेतों में पैदावार अधिक हो सके और ऊपर ज्यादा से ज्यादा हो सके लेकिन अभी जो देखा जा रहा नदी पहले नालों में सिमट गया और आज नदी जैसे धीरे-धीरे करके विलुप्त होते जा रहा है इसी के संबंध में जमुई एवं बिहार के विभिन्न जगहों से लोग नदी बचाओ आंदोलन में सहयोग करेंगे और बढ़ चढ़कर हिस्सा लिया जाएगा,
वही जिला अध्यक्ष कुंवर माधव सिंह ने कहा की नदी बचाओ आंदोलन में गिद्धौर से सैकड़ों की संख्या में इस आंदोलन में लोग एवं युवाओं के द्वारा कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए लोग मौजूद होंगे साथ ही उन्होंने कहा कि जल है तो जीवन है जिस प्रकार मछली को पानी से निकाल देने के बाद वह छटपटा कर मर जाती है उसी प्रकार धरती पर से नदी जिस प्रकार विलुप्त होते जा रहे हैं कहीं ऐसा ना हो कि लोगों का भी हाल मछली के जैसा ही ना हो जाए
वही लोजपा के युवा जिला अध्यक्ष सौरभ कुमार सिंह ने कहा जब हम स्कूल जीवन में थे तब गर्मियों की छुट्टी में भागे भागे घर आया करते थे और मौका मिलते ही दोस्तों के साथ नदी में नहाने के लिए चले जाया करते थे लेकिन आज का समय हुआ आ गया है जहां नदी हुआ करता था आज सूखा रेगिस्तान और पोखर नुमा जगह दिख रहा है वहीं उन्होंने कहा कि इस प्रकार के आंदोलन से लोगों को काफी सहूलियत होगा और नदी को बचाया जा सकता है
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